Tuesday, April 30, 2019

Shayari

आज बड़े दिनों बाद जब उठायी कलम,
कागज़ पे दिखी तो सिर्फ सिहाई |
अलफ़ाज़ तो मानो ख़ुदकुशी कर बैठे थे ,
मिट गए थे अरमान और मिट गयी थी लिखाई ||

Saturday, September 21, 2013

तन्हाई

आज तन्हाई ने हमसे पूछा की तन्हा क्यूँ है,
हमने उसके सवाल और उसे तन्हा छोड़ना ही बेहतर समझा !! --Aj

Shayari

फूल ने गुज़ारिश की मुझसे उसकी तरह खिल के हस्ने को
फूल ने गुज़ारिश की मुझसे उसकी तरह खिल के हस्ने को
मैने कह दिया वो हसी ही क्या जो खिल के कल मुरझा जाए !!  --Aj

Monday, June 3, 2013

खामोशी

मेरी खामोशी ने मुझसे मेरे ख़ामोश होने की वजह माँगी
और हमने उसके सवाल पे ख़ामोश रहना ही बेहतर समझा !! --Aj

Tuesday, April 16, 2013

मोहोब्बत की सीमा

मुझसे मत पूछना की तुमसे कितना मोहोब्बत करता हूँ मैं
मुझसे मत पूछना की तुमसे कितना मोहोब्बत करता हूँ मैं
सुना है की सीमाओं के भी बंदिशे होती हैं !! --Aj

Tuesday, March 5, 2013

Politicians in Office

If you think Politicians sit in Parliament...then Think Again...Most of them sit in your very own Offices....!!

छिपे दर्द

दर्द को समेट लो दिल की गहरैइिओं में
उसे भी तो पता चले की कई और दर्द छिपे हैं ज़माने से !!